काफी टाइम हो गया ना दोस्तों ऐसी फिल्म देखे हुए जिसमें एक्टर खुद मजे लेकर एक्टिंग करे और देखने वालों को उससे भी ज्यादा मजा आए। इस हफ्ते रिलीज हुई है Jolly LLB 3 — लेकिन असल में ये नाम नहीं, ये है Jolly vs Jolly।
कहानी और Concept
फिल्म का आधार वही पुराना सवाल है: असली हकदार कौन? पहले लड़ाई तलवार से होती थी, अब दलीलों से और बहस से।
- Candidate No.1 – Jolly Tyagi (Arshad Warsi): मेरठ वाला वकील जो गरीबों के लिए लड़ता है।
- Candidate No.2 – Jolly Mishra (Akshay Kumar): कानपुर वाला चालाक वकील जिसका पिछला रिकॉर्ड जबरदस्त है।
और हां—इस बार केस है एक बकरी के लिए। थोड़ा अजीब, थोड़ा फिल्मी, लेकिन यही केस दोनों को कोर्ट में भिड़ा देता है।
Courtroom Drama & Emotions
वकील काले कोट क्यों पहनते हैं—यह सवाल फिल्म में भी आता है। काला रंग किसी और रंग को छुपा नहीं पाता—जैसे सच को दबाया नहीं जा सकता। पर सवाल उठता है कि कहीं कोई खुद काला तो नहीं हो गया? फिल्म इसी रंग और सच के सस्पेंस के साथ खेलती है।
Performances
- Akshay Kumar: Comedy timing अभी भी strong—इस फ्रेम में उनका कमाल दिखता है।
- Arshad Warsi: Charm और गंभीरता दोनों का बेहतरीन मिश्रण।
- Gajraj Rao: Villainy में दिमागी ताकत—उनकी लाइन “ग़रीबी को ग्लोरिफाई नहीं करना चाहिए” याद रहने वाली है।
- Amrita Rao: वापसी अच्छी लगी पर screen-time कम मिला—उम्मीद थी ज़्यादा मिलन दिखे।
- Seema Biswas: बिना डायलॉग बोले जो एंडिंग में किया—वो असली सिनेमा था।
Positives
- Powerful performances by Akshay & Arshad.
- Emotional climax that stays with you.
- Comedy mixed with a serious social message.
Negatives
- Case का core इतना मजबूत नहीं—Part 1 जैसी detailing नहीं मिली।
- Jolly vs Jolly की बनी hype पूरी तरह justify नहीं हुई।
- Movie mid-section slow लग सकता है—first half सिर्फ mystery build करता है।
Final Verdict
फिल्म दिमाग से शायद कम कर दे, पर दिल से full affect करती है। अगर आपको courtroom dramas पसंद हैं और आप emotional climax से जुड़ना चाहते हैं तो यह फिल्म देखिए।
Recommended (If you liked court dramas)
Netflix पर Court: State vs An Unknown जैसी films भी देखें — वे ज़्यादा मजबूत courtroom storytelling देती हैं।

